पटना में गंगा किनारे बनाया गया सीएम नीतीश कुमार का ड्रीम प्रोजक्ट गंगा पथ एक बार फिर से चर्चा में है। इस बार कारण इसकी गुणवत्ता पर सवाल उठना है। दरअसल नौ अप्रैल को लोकार्पण के चार दिन बाद ही दीदारगंज के पास जेपी गंगा पथ पुल के पाया नंबर ए 3 पास पर सड़क पर बड़ी दरार देखी गई है। यह दरार गंगा पथ के दोनो ओर स्पष्ट दिख रही है। अब सोशल मीडिया पर तेजी से इससे जुड़ी तस्वीर वायरल हो रही है। लोग गंगा पथ के निर्माण कार्य की गुणवत्ता पर सवाल उठा रहे हैं। उनका कहना है कि चुनावी साल में जल्दबाजी में कंगनघाट से दीदारगंज तक गंगा पथ का लोकार्पण किया गया। इसलिए तेजी में सरकार ने गुणवत्ता का ख्याल नहीं रखा।
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इधर, इस मामले को लेकर पथ निर्माण मंत्री नितिन नवीन कहा कि मुझे भी जानकारी मिली है। विभाग के अधिकारियों को गम्भीरता से जांच का आदेश दिया है। कहां क्या गड़बड़ी हुई है? हमलोग इसे भी दिखवा रहे हैं। बता दें कि करीब 3831 करोड़ रुपये की लागत से बनी इस परियोजना का निर्माण बिहार राज्य पथ निर्माण निगम ने कराया है। इस महत्वपूर्ण सड़क की लंबाई 20.5 किलोमीटर है, जो पटना शहर के दो महत्वपूर्ण छोरों को जोड़ती है। यह अटल पथ, एलसीटी घाट, गांधी मैदान, पीएमसीएच, पटना विश्वविद्यालय, एनआईटी, गायघाट, कंगन घाट, कृष्णा घाट और पटना घाट जैसे सभी महत्वपूर्ण स्थानों को एक सीध में जोड़ती है। इससे पटना के पूर्वी और पश्चिमी हिस्सों के बीच यातायात काफी सुगम हो गया था। लेकिन, लोकार्पण के तीन दिन बाद ही दीदारगंज के पास दरार दिखने से अब इसकी गुणवत्ता पर सवाल उठने लगे हैं।
जेपी के नाम पर हुआ इसका नामाकरण
लोकनायक जयप्रकाश नारायण की जयंती 11 अक्टूबर 2013 पर इस परियोजना की नींव रखी गई थी, जिस वजह से इसका नाम जेपी गंगा पथ नाम दिया गया था। पहले चरण में दीघा से गांधी मैदान तक 7.5 किमी सड़क 24 जून 2022 को जनता को समर्पित की गई। इसके बाद दूसरे चरण में 14 अगस्त 2023 पीएमसीएच से गायघाट तक 5.0 किमी, तीसरे चरण 10 जुलाई 2024 को गायघाट से कंगन घाट तक 3.0 किमी और चौथे चरण में कृष्णा घाट संपर्क पथ का उद्घाटन 3 अक्टूबर 2024 को किया गया।