पश्चिम एशिया में व्यापक अशांति के बीच सीरिया में तख्तापलट के बाद राष्ट्रपति बशर अल-असद को देश छोड़कर भागना पड़ा। उन्हें अपदस्थ करने वाले विद्रोही नेता देश को सीरिया का अंतरिम राष्ट्रपति नियुक्त किया गया है। बुधवार को देश के अंतरिम राष्ट्रपति की नियुक्त के संबंध में सीरिया की नयी सरकार के सैन्य संचालन क्षेत्र के प्रवक्ता ने जानकारी दी।
सीरिया की नयी सरकार के सैन्य संचालन क्षेत्र के प्रवक्ता कर्नल हसन अब्दुल गनी ने कहा कि अहमद अल-शरा इस्लामी पूर्व विद्रोही गुट हयात तहरीर अल-शाम (एचटीएस) के नेता हैं। उन्हें देश के अंतरिम राष्ट्रपति के रूप में नियुक्त किया गया है। शरा के इसी गुट ने पिछले महीने असद को सत्ता से बेदखल करने में मुख्य भूमिका निभाई थी।
बता दें कि असद के पतन के बाद से एचटीएस सत्तारूढ़ पार्टी बन गई है। उसने एक अंतरिम सरकार का गठन किया है। इससे पहले सीरिया में बीते साल 10 दिसंबर को मोहम्मद अल-बशीर को अंतरिम सरकार का प्रमुख नियुक्ति किया गया था। अंतरिम सरकार के मुखिया चुने गए बशीर का जन्म 1983 में इदलिब प्रांत के जबल अल-जाविया में हुआ था। इस क्षेत्र में हाल के वर्षों में अधिकांशत: इस्लामी समूह हयात तहरीर अल-शाम (HTS) और इससे थोड़े कम प्रभाव वाले सहयोगी गुटों का असर दिखता है।
असद को सत्ता और देश दोनों छोड़कर भागना पड़ा
बता दें कि सीरिया के अलेप्पो में विद्रोहियों ने 27 नवंबर, 2024 को असद सरकार के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू किया। इसके बाद यह सीरिया का पहला प्रमुख शहर बना जहां विद्रोहियों ने रविवार को बड़े पैमाने पर कब्जा कर लिया। अलेप्पो के साथ विद्रोही खेमे ने राजधानी दमिश्क पर भी कब्जा कर लिया, जिसके कारण असद को सत्ता और देश दोनों छोड़कर भागना पड़ा।
असद परिवार का 50 वर्षीय शासन सिर्फ 10 दिनों में समाप्त हुआ
सीरिया के राष्ट्रपति बशर अल-असद के रूस भागने और देश पर विद्रोहियों का कब्जा होने के बाद राजधानी दमिश्क की सड़कों पर जबरदस्त जश्न मनाया गया। विद्रोहियों ने असद के शासन में कैद किए गए कई कैदियों को भी सोमवार तड़के कालकोठरियों से मुक्त कराया। असद परिवार के करीब 50 वर्षीय शासन को सिर्फ 10 दिनों में विद्रोहियों ने हमला बोलकर खत्म कर दिया और अब राजनीतिक कैदियों को आजाद कराने के लिए जेलों व सुरक्षा सुविधाओं में तोड़फोड़ की। असद के पांच दशकों के कार्यकाल में सीरिया को अमेरिका, फ्रांस, ब्रिटेन, तुर्किये और सऊदी अरब जैसे कई बड़े देशों से विरोध झेलना पड़ा। जबकि रूस, इराक, मिस्र, लेबनान और ईरान ने असद का भरपूर साथ दिया।
(टैगस्टोट्रांसलेट) वर्ल्ड (टी) इंटरनेशनल
Source link