यूपी कैबिनेट बैठक 2025: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में 8 अप्रैल 2025 को लखनऊ में आयोजित हुई यूपी कैबिनेट की बैठक में 13 महत्वपूर्ण प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। यह बैठक लोक भवन में सुबह 11 बजे शुरू हुई और राज्य की बुनियादी ढांचे, कल्याण और शासन से जुड़ी योजनाओं पर केंद्रित रही। बैठक के बाद वित्त मंत्री सुरेश खन्ना ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर फैसलों की जानकारी दी। कैबिनेट ने प्रांतीय रक्षक दल (PRD) के 34 हजार जवानों का भत्ता बढ़ाने, विकलांग बच्चों के लिए मुफ्त भूमि आवंटन और हाथरस में मेडिकल कॉलेज के लिए ज़मीन देने जैसे अहम फैसलों पर मुहर लगाई। इसके अलावा जगतपुर में यमुना एक्सप्रेसवे और ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे की क्रॉसिंग के निर्माण की जिम्मेदारी अब NHAI को दी गई है।
इंटरचेंज का जिम्मा अब NHAI को
UP Cabinet बैठक का एक बड़ा फैसला यमुना एक्सप्रेसवे और ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेसवे की कनेक्टिविटी से जुड़ा रहा। पहले यह प्रोजेक्ट यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YEIDA) के अधीन था, लेकिन अब इसे राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI) को सौंप दिया गया है। इस निर्णय से परियोजना को और तेजी मिलेगी और एक्सप्रेसवे के बीच ट्रैफिक को बेहतर ढंग से जोड़ा जा सकेगा। यह कदम महाकुंभ 2025 और निवेश को आकर्षित करने की दिशा में सरकार की गंभीरता को भी दर्शाता है।
दिव्यांग बच्चों और PRD जवानों को लाभ
UP Cabinet बैठक में दिव्यांगजन सशक्तिकरण विभाग के तहत श्रवणबाधित और दृष्टिबाधित बच्चों के लिए मुफ्त भूमि आवंटित करने का प्रस्ताव पारित किया गया। इससे विशेष रूप से विकलांग बच्चों के लिए बेहतर शैक्षणिक और विकासात्मक सुविधाएं उपलब्ध कराई जा सकेंगी। वहीं, 34 हजार पीआरडी जवानों के भत्ते में 105 रुपये की बढ़ोतरी की गई है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार होने की उम्मीद है। ये जवान आपदा प्रबंधन से लेकर ग्रामीण स्तर पर सुरक्षा और सहयोग की भूमिका निभाते हैं।
मेडिकल कॉलेज और नई नियुक्तियां
हाथरस में मेडिकल कॉलेज की स्थापना के लिए भूमि आवंटन की घोषणा भी की गई। साथ ही उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सहकारी सेवा में संरचनात्मक बदलाव कर 900 पदों को पुनर्गठित किया गया है, जिनमें से 150 पदों को उच्चीकृत किया गया है। इसके पीछे उद्देश्य प्रशासनिक दक्षता और सेवाओं की गुणवत्ता को बेहतर बनाना है।
राजनीतिक और सामाजिक संदर्भ
इस UP Cabinet बैठक की टाइमिंग भी महत्वपूर्ण रही, क्योंकि यह 2027 विधानसभा चुनावों की तैयारी के बीच हुई है। सरकार ने एक ही बैठक में 13 प्रस्ताव पास कर दिखा दिया कि वह बुनियादी ढांचे और सामाजिक न्याय दोनों पर समान रूप से ध्यान दे रही है। कैबिनेट की पारदर्शिता और निर्णयों को लाइव-स्ट्रीम कर जनता को जोड़ने का प्रयास भी प्रशंसनीय रहा।
इन फैसलों से यूपी में विकास और जनकल्याण के नए रास्ते खुलने की उम्मीद है।